मणिपुर में मैतेई संगठन अरामबाई टेंगोल के नेता कानन सिंह की गिरफ्तारी के बाद राज्य में एक बार फिर से हिंसा भड़क उठी है। कानन सिंह को साल 2023 में मणिपुर में हुई हिंसा के मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक माना जाता है। उनकी गिरफ्तारी के बाद इंफाल समेत पांच जिलों में इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई है ताकि स्थिति को काबू में रखा जा सके। इसके साथ ही राज्यपाल अजय कुमार भल्ला ने सुरक्षा अधिकारियों और विधायकों के साथ स्थिति की समीक्षा की और हिंसा को नियंत्रित करने के निर्देश दिए।
मणिपुर में हिंसा की वजह क्या है?
राज्य में हिंसा भड़कने की मुख्य वजह कानन सिंह की गिरफ्तारी को माना जा रहा है। कानन सिंह अरामबाई टेंगोल नामक मैतेई संगठन के प्रमुख हैं। यह संगठन मणिपुर में सांप्रदायिक और जातीय संघर्षों में सक्रिय रहा है। 2023 की मणिपुर हिंसा के दौरान कानन सिंह की कथित भूमिका के चलते उन पर आपराधिक गतिविधियों के आरोप हैं।
6 जून 2025 को कानन सिंह को इंफाल एयरपोर्ट से गिरफ्तार किया गया। उनकी गिरफ्तारी से पहले ही एयरपोर्ट पर उनके समर्थक और प्रदर्शनकारी जमा हो गए थे। उन्होंने हवाई अड्डे के गेट पर धरना देकर विरोध जताया। गिरफ्तारी की खबर उनके परिवार को भी दी गई। कानन सिंह को इंफाल से गुवाहाटी ले जाया गया है, जहां उन्हें अदालत में पेश किया जाएगा ताकि पुलिस रिमांड पर लिया जा सके।
इंटरनेट सेवा बंद, क्यों?
इंफाल और आसपास के पांच जिलों — इंफाल पूर्व, इंफाल पश्चिम, थौबल, काकचिंग, और बिष्णुपुर — में इंटरनेट सेवाओं पर रोक लगाई गई है। मोबाइल डेटा सेवाओं पर भी प्रतिबंध लगाया गया है। प्रशासन का मानना है कि इंटरनेट सेवा बंद करने से कानून-व्यवस्था को बनाए रखना आसान होगा।
ऐसी आशंका जताई जा रही है कि इंटरनेट के जरिये कुछ असामाजिक तत्व भड़काऊ सामग्री, हिंसा से जुड़ी अफवाहें, गलत सूचनाएं और वीडियो प्रसारित कर सकते हैं, जिससे तनाव और बढ़ सकता है। इंटरनेट बंदी से भावनात्मक और भड़काऊ संदेशों के प्रसार पर रोक लगाई जा सकेगी।
राज्यपाल ने की सुरक्षा समीक्षा बैठक
राज्य में बढ़ते तनाव के मद्देनजर मणिपुर के राज्यपाल अजय कुमार भल्ला ने रविवार को सुरक्षा अधिकारियों, पुलिस प्रमुखों और कई विधायकों के साथ एक आपात बैठक की। इस बैठक में राज्य की वर्तमान कानून व्यवस्था और सुरक्षा स्थिति की समीक्षा की गई।
राज्यपाल ने अधिकारियों को स्थिति को नियंत्रण में रखने के लिए जरूरी कदम उठाने के निर्देश दिए। साथ ही उन्होंने सभी संबंधित पक्षों से संयम बरतने और शांति बनाए रखने की अपील की। राज्य के सामाजिक और राजनीतिक स्थिरता को प्राथमिकता देने की बात कही गई।
कानन सिंह कौन हैं?
कानन सिंह मणिपुर के इंफाल में सक्रिय मैतेई संगठन ‘अरामबाई टेंगोल’ के प्रमुख हैं। यह संगठन मणिपुर की स्थानीय जातीय राजनीति में एक अहम भूमिका निभाता है। कानन सिंह पर 2023 की मणिपुर हिंसा में आपराधिक साजिश और सांप्रदायिक दंगा भड़काने के आरोप लगे हैं।
कानन सिंह को 7 जून 2025 को केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने इंफाल एयरपोर्ट से गिरफ्तार किया। उनकी गिरफ्तारी सुप्रीम कोर्ट के निर्देश के बाद हुई है, जो 2023 की हिंसा की जांच से संबंधित है। कानन पर धार्मिक और जातीय तनाव भड़काने के आरोप हैं, जो मणिपुर के शांति और व्यवस्था के लिए खतरा बने हुए थे।
मणिपुर हिंसा की पृष्ठभूमि
मणिपुर पिछले कुछ वर्षों से जातीय और सांप्रदायिक तनाव का शिकार रहा है। 2023 में यहां बड़ी हिंसा भड़क उठी थी जिसमें कई लोगों की जान गई और संपत्ति का भारी नुकसान हुआ। हिंसा के पीछे राजनीतिक और जातीय समूहों के बीच पुरानी वैमनस्यता थी।
कानन सिंह जैसे नेताओं की भूमिका को इस हिंसा में भड़काऊ माना गया। उन्हें हिंसा की साजिश रचने और उसे भड़काने का आरोप लगाया गया। उनकी गिरफ्तारी को शांति बहाली की दिशा में महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है।
वर्तमान हालात और आगे की राह
कानन सिंह की गिरफ्तारी के बाद मणिपुर में तनाव बढ़ा है और हिंसा की खबरें आ रही हैं। हालांकि, सरकार ने इंटरनेट सेवा बंद कर स्थिति को नियंत्रण में रखने की कोशिश की है। राज्यपाल की समीक्षा बैठक से उम्मीद जताई जा रही है कि जल्द ही शांति बहाल हो जाएगी।
सुरक्षा बलों को निर्देश दिए गए हैं कि वे कड़ी निगरानी रखें और किसी भी हिंसक घटना को समय रहते रोका जाए। साथ ही राजनीतिक नेतृत्व को भी संयम और शांति की अपील करनी होगी ताकि मणिपुर की सामाजिक एकता बनी रहे।
निष्कर्ष
मणिपुर की वर्तमान हिंसा कानन सिंह की गिरफ्तारी से भड़क उठी है, जो 2023 की हिंसा के मुख्य आरोपी हैं। इंटरनेट बंदी और सुरक्षा समीक्षा के माध्यम से प्रशासन ने स्थिति को संभालने की कोशिश की है। हालांकि, हिंसा रोकने और स्थायी शांति स्थापित करने के लिए राजनीतिक, सामाजिक और प्रशासनिक स्तर पर गहरा संवाद और समन्वय आवश्यक है।
मणिपुर की जनता शांति और सुरक्षा की उम्मीद करती है ताकि वे विकास और खुशहाली की राह पर आगे बढ़ सकें। कानन सिंह की गिरफ्तारी एक बड़ा कदम है, परंतु इसके